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महर्षि दयानंद भारत में महिला शिक्षा/उत्थान के सूत्रधारः युक्ति

डाॅ. दीपक अग्रवाल
अमरोहा/उत्तर प्रदेश (सनशाइन न्यूज)
आर्य समाज अमरोहा के वार्षिकोत्सव के महिला सम्मेलन में एमबीबीएस ट्रेनी युक्ति रुस्तगी ने कहा कि अगर यह कहा जाए कि महर्षि दयानंद भारत में महिला शिक्षा व महिला उत्थान के सूत्रधार थे तो अतिशयोक्ति नहीं होगी। वह पहले समाज सुधारक थे जिन्होंने नारी उत्थान की क्रांति को जन्म दिया। उनका मानना था कि जब तक नारी शिक्षित नहीं होगी तब तक जागरूक नहीं हो सकती, ऋषि ने वेदों की कुंजी स्त्रियों के लिए सुलभ करा दी थी। हजारों साल नर्गिस अपनी बेनूरी पर रोती है बड़ी मुश्किल से होता है चमन में दीदावर पैदा। महर्षि दयानंद ऐसे ही दीदावर थे जिनकी सुगंध आज भी हमारी जीवन रूपी बगिया को महका रही है ।
महिला सशक्तिकरण में आर्य समाज
महिला सशक्तिकरण में आर्य समाज का योगदान विषय पर विचार व्यक्त करते हुए उन्होंने कहा कि महाभारत काल के बाद इस क्षेत्र में पतन का दौर चला और नारी निरंतर पतन की ओर धकेल दी गई पौराणिक और संकीर्ण विचारधारा ने इस को और अधिक बल मिला। नारी को नर्क का द्वार जैसे विशेषण से विभूषित किया गया इन सब का परिणाम यह हुआ कि औरत को पैरों की जूती समझा जाने लगा ।
उन्होंने कहा कि जिस समय इस भारत भूमि पर देव दयानंद का आगमन हुआ उस समय नारी की अवस्था अत्यंत दयनीय थी उन्होंने यह भली-भांति अनुभव कर लिया था कि स्त्री का उत्थान हुए बिना समाज अथवा राष्ट्र का उद्धार संभव नहीं क्योंकि स्त्री भी पुरुष की भांति समाज रूपी गाड़ी का एक पहिया है जिसके बिना संतुलन मुमकिन नहीं। निसंदेह ऋषि ने नारी जागरण के लिए जिस वैचारिक एवं सामाजिक क्रांति का सूत्रपात किया दयानंद के उस मिशन को आगे बढ़ाते हुए समाज में अनेक कन्या विद्यालय एवं गुरुकुलों का निर्माण किया जिसके सुखद परिणाम हमारे सामने हैं पर जितने प्रयास किए जाने थे उतने नहीं हो रहे हैं इनका सबसे बड़ा कारण यह है कि साक्षर होते हुए भी नारी धार्मिक आडंबरों की शिकार अधिक है आवश्यकता है कि धर्म के वास्तविक स्वरूप को समझने की और उसके अनुरूप आचरण करने की।
दुनिया की पहचान है औरत
नारी के महत्व को इंगित करते हुए भावी चिकित्सक युक्ति ने कहा किः
दुनिया की पहचान है औरत
हर घर की जान है औरत ।
बेटी बहन मां और पत्नी बन कर
घर घर की शान है औरत।।

जिस परिवार समाज व देश में औरतों का सम्मान नहीं होता उस परिवार समाज व देश का पतन निश्चित है ।
इसीलिए,
अपमान न करना नारी का ,
इसके बल पर जग चलता है ।
पुरुष जन्म लेकर, इसी गोद में पलता है।।
स्वामी दयानंद प्रदत नारी जागृति का यह अभियान तभी सार्थक होगा जब नारी स्वयं अपनी शक्ति को पहचानेंगी। क्योंकि जिस दिन नारी अपनी शक्ति को पहचानेगी उस दिन कामयाबी उसके कदम चूमेगी। इसलिए,आज खुद से यह वादा करना है चाहे कितने भी पहाड़ हमारी राह रोके
मगर हम नहीं हारेंगे
नई राह बनाएंगे।।
सम्मेलन की अध्यक्षता जेएस हिंदू पीजी कालेज हिंदी विभाग की अध्यक्ष डॉ बीना रुस्तगी ने की। गुरुकुल चोटीपुरा से पधारी ब्रह्मचारिणीयों ने महर्षि दयानंद और आर्य समाज के योगदान विषयक कई गीत प्रस्तुत किए । इस अवसर पर राष्ट्र कल्याण यज्ञ का आयोजन किया गया। कार्यक्रम का संचालन सुप्रिया खुराना ने किया। मंत्राणी निशि रस्तोगी तथा कोषाध्यक्ष अंजू आर्य ने सभी का आभार जताया।

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Dr. Deepak Agarwal
Dr. Deepak Agarwal is the founder of SunShineNews. He is also an experienced Journalist and Asst. Professor of mass communication and journalism at the Jagdish Saran Hindu (P.G) College Amroha Uttar Pradesh. He had worked 15 years in Amur Ujala, 8 years in Hindustan,3years in Chingari and Bijnor Times. For news, advertisement and any query contact us on deepakamrohi@gmail.com
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